
सफल शादीशुदा जीवन के रहस्य: पहले के ज़माने में शादी एक अटूट बंधन माना जाता था लेकिन अब इसका मतलब कहीं ना कहीं बदल गया है। एक सफल शादीशुदा जीवन आज भी लोगों को बहुत भाता है लेकिन कुछ नकारात्मक प्रभाव भी हैं, जैसे साथ ही में कई लोगों को बहुत उलझन से भरा हुआ लगता है।
हालांकि वास्तव में शादीशुदा जिंदगी की एक मर्यादा होती है, इस जिंदगी में आपको एक जिम्मेदारी के साथ ही जीना होता है। एक सफल और बेहतर शादीशुदा जीवन बनाने के लिए कई सारे बातों का ध्यान रखना होता है, जहाँ तक कि एक सफल शादीशुदा जीवन बनाने के लिए कुछ पुरानी सामाजिक बातों का ध्यान में रखना ज्यादा बेहतर होगा। चलिए अब बात करते एक सफल शादीशुदा जीवन के सभी रहस्य के बारे में।
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शादीशुदा जीवन के कुछ खास बाते:
शादीशुदा जीवन क्या है? यह एक वैवाहिक संबंध है जिसमें दो लोग एक-दूसरे के साथ जीवन बिताने का निर्णय लेते हैं। इसमें कुछ खास निम्नलिखित तत्व शामिल होते हैं:
- समर्पण तथा वचनबद्धता: एक-दूसरे के प्रति प्रतिबद्धता और सम्मान।
- साझा जिम्मेदारियां: घर, बच्चों और वित्तीय मामलों की देखभाल।
- प्यार और समझ: एक-दूसरे के प्रति प्रेम, सहानुभूति और समझदारी।
- संवाद: स्वस्थ संबंध के लिए खुली और ईमानदार बातचीत।
- साझा लक्ष्य: जीवन के लक्ष्य और सपनों को मिलकर हासिल करना।
हर किसी के शादीशुदा जीवन में उतार-चढ़ाव आते जाते रहता हैं लेकिन फिर भी प्यार, समझ, और सम्मान के साथ इसे सुंदर और संतोषजनक बनाया जा सकता है।
सफल शादीशुदा जीवन के रहस्य:
शादी यानी विवाह के बाद शादीशुदा जीवन की शुरुआत होती है। यह जीवन हर व्यक्ति के लिए बहुत महत्वपूर्ण होता है अर्थात इसकी अपनी एक सुन्दरता और महत्व है इसलिए शादी को सफलतापूर्वक अटूट बनाना अति आवश्यक हो जाता है। यह रहे कुछ महत्वपूर्ण सफल शादीशुदा जीवन के रहस्य:
1. एक दूसरे के प्रति लगाव और प्यार दे:
एक दूसरे के प्रति लगाव और प्यार बहुत अहम होता है। प्यार की आवश्यकता खास तौर पर शादीशुदा जीवन में अहम योगदान होता है। प्यार के लिए कहा जाता है, अगर प्यार में सच्ची भावना हो तो भगवान भी खुश हो जाते तो इससे जीवन को बेहतर भी बनाया जा सकता है। मैंने अपने दोस्तों की मदद से जब सफल शादीशुदा जीवन के रहस्य के बारे में अपने आसपास के क्षेत्रों में पता करना शुरू किया था, तो पता चला था 90 से 95% लोगों की सफल शादीशुदा जीवन मे एक दूसरे के प्रति लगाव और प्यार का बड़ा योगदान है।
लगाव का मतलब यहाँ एक दूसरे के साथ क्वालिटी टाइम्स बिताना, रिश्तों में वक़्त देना और साथ देना। आपको मस्ती और थोड़ा फनी अंदाज से भी एक दूसरे के साथ समय व्यतीत करना चाहिए। धीरे-धीरे आपको रिश्ते मजबूत करना चाहिए, रिश्ते को इतना मजबूत बना ले कि आप एक दूसरे के बिन रह ना पाओ लेकिन इस बात का भी ध्यान रखना आवश्यक है कि पहल दोनों तरफ से होना चाहिए।
2. खुलकर बात करे और एक दूसरे का सम्मान करें:
खुल कर बात करने और एक-दूसरे का सम्मान करने की बजह से रिश्तों में समस्याएं कम आती है और बिगड़े हुए रिश्ते भी धीरे-धीरे सुधरने लगता है। चाहे लोगों के पास कुछ हो या ना हो, लेकिन हर किसी के लिए उसका सम्मान या आत्मसम्मान बहुत आवश्यक होता है (खास तौर ल़डकियों के लिए क्यूंकि ये लोगों थोड़ा सा नाटकबाज होते हैं – ये केवल मज़ाक के लिए)।
3. एक दूसरे का भरोसा टूटने ना दे:
भरोसा हर रिश्ते का सबसे अनमोल रत्न है, जिसके बिना रिश्ते काफी मुश्किलें से भरा होता है। आज भरोसा यानी विस्वास ही रह रिश्ते की नींव होता है। यह एक ऐसा अनमोल रत्न है जो रिश्तों को अटूट और मजबूत बनाता है और आपके मुस्किल समय की हर परीक्षा में खरा उतरने में मदद करता है। इतिहास गवाह है बिना भरोसे के आज तक कोई भी रिश्ता ज्यादा लम्बे समय तक नहीं टिक सकता।
आज आप जब बाजार जाते हो और कोई समान खरीदना होता है तो सबसे पहले आप देखते तो कौन सी ब्रांड की है, यानी आप वहाँ भी भरोसेमंद ब्रांड के ही प्रोडक्ट खरीदना पसंद करते हो, तो सोचो रिश्ते में भरोसे की कीमत क्या होगा। एक सफल शादीशुदा जीवन के रहस्य का यह सबसे अहम और महत्वपूर्ण भूमिका है।
4. एक दूसरे का हमेशा साथ दे:
शादी यानी विवाह का अर्थ ही है आजीवन के लिए एक दूसरे का हो जाना। एक दूसरे का हो जाना अर्थात सुख, दुःख, सही या गलत हर जगह आपको एक दूसरे का सहारा बनना चाहिए। कुछ लोग आज के समय में छोटी छोटी बातों पर भी रिश्ते तोड़ देते हैं और यह गलत है। वैसे भी रिश्ते तोड़कर आगे बढ़ने वाले अक्सर जिंदगी भड़ के लिए प्यार के लिए तरसते रहते हैं क्योंकि जब आप एक को छोड़ कर आगे बढ़ते हो तो उस व्यक्ति को ऐसा लगता है कि किसी मोड़ पर ये मुझे भी छोड़ सकता है।
इसलिए आपके पास जो है यानी जैसा भी आपका पार्टनर मिला हो आपको उसके साथ रिश्ते तोड़कर आगे बढ़ने के बजाय कोशिश करे एक दूसरे का साथ देते हुए आगे बढ़ने का और हमेशा एक दूसरे का साथ देने का। सफल शादीशुदा जीवन के रहस्य का यह भी एक अहम हिस्सा है।
5. किसी अन्य व्यक्ति का राय ना ले अर्थात आपस में समस्याएं का हल निकालें, जैसे:
वर्षों से चला आ रहा है, जब भी कोई दूसरे व्यक्ति के राय पर फैसला लेता है या दूसरे की बातों को मानता है, तो वह अपनी ही खुशी को खुद से दूर भगा देता है। जैसे रामायण में माता कैकेयी ने मंथरा के कहने पर भगवान राम को 14 वर्षा की बनवास मांग की थी, जिसके फलस्वरूप माता कैकेयी की खुशियां छीन गयी थी। माता कैकेयी के सगे बेटे भी अपनी माँ से दूर रहना पसंद करते थे, उनसे नफरत करते थे।
आपके जीवन में भी कई होंगे अर्थात शादीशुदा जीवन में भी कई मंथरा होगी पर आपको किसी की नहीं सुननी है, जो भी मांग हो या समस्या हो अपने ही बुद्धी-विवेक से उसका समाधान करे। ताकि दिन प्रति दिन आपके रिश्ते मजबूत होता जाए।